डेस्क :- आज से कुछ बदलाव होने वाले हैं जिसमे से कुछ आपके जेब पर डारेक्ट आसार डालने वाले हैं इनमें आधार लिंकिंग, प्रोविडेंट फंड, रसोई गैस की कीमतें, GST रिटर्न दाखिल करना और बहुत कुछ शामिल होंगे।
आइये हम आपको बताते हैं इस आर्टिकल में की कैसे आपके जीवन से जुड़े ये 5 नियम 1 सितंबर 2021 से बदल जाएंगे इसलिए आपको ये नए नियम समझना ही होगा इसलिए आपको हमारा यह पूरा आर्टिकल लास्ट तक पढ़े !
आम तौर हर महीने की पहली तारीख से कई नियम लागू होते हैं। चाहे वे बैंक से जुड़े हों या फिर पोस्ट ऑफिस या टैक्स से ये नए नियम बैंक अकाउंट से लेकर घरेलू बजट तक कई चीजों को प्रभावित करेंगे। यहां हम आपको ऐसे अहम नियमों के बारे में बताने जा रहे हैं, जिनमें अगले महीने 1 सितंबर से कुछ बदलाव होने जा रहे हैं। जिसमे से सबसे पहले
1 LPG की कीमतों में बढ़ोतरी
रसोई गैस की कीमतें लगातार दो महीने से बढ़ाई जा रही हैं। अगस्त में रसोई गैस की कीमतों में 25 रुपये प्रति सिलेंडर की बढ़ोतरी की गई थी। जुलाई में LPG सिलेंडर की कीमतों में 25.50 रुपए की बढ़ोतरी हुई थी। ये बढ़ोतरी सितंबर में भी जारी रहने की उम्मीद है। इस साल जनवरी से रसोई गैस की कीमतों में 165 रुपए प्रति सिलेंडर की बढ़ोतरी की गई है।
02 जीएसटी नहीं भर पाएंगे
जिन करदाताओं ने पिछले दो महीनों में जीएसटीआर-3बी रिटर्न दाखिल नहीं किया है, वे 1 सितंबर से जीएसटीआर-1 में आउटवार्ड यानी बाहर भेजे जाने वाली सप्लाई की डिटेल फाइल नहीं कर पाएंगे। जीएसटीएन ने कहा कि केंद्रीय जीएसटी नियमों का नियम-59(6), जो जीएसटीआर-1 दाखिल करने में प्रतिबंध का प्रावधान करता है, 1 सितंबर, 2021 से लागू होगा।
3 आधार-PF को लिंक करना हुआ अनिवार्य
सितंबर से, एंपलॉयर्स आपके प्रोविडेंट फंड (PF) अकाउंट में अपना योगदान तभी जमा कर पाएंगे, जब आपका आधार कार्ड आपके यूनिवर्सल अकाउंट नंबर (UAN) से लिंक होगा। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) ने सामाजिक सुरक्षा संहिता, 2020 की धारा 142 में संशोधन किया है, जिससे सर्विस का लाभ उठाने, बेनिफिट लेने, पेमेंट लेने आदि के लिए इस लिंकिंग को अनिवार्य कर दिया गया है।
PF अकाउंट होल्डर्स सभी बेनिफिट्स तभी उठा पाएंगे, जब उन्होंने अपने आधार को अपने UAN से लिंक किया होगा। इस लिंकिंग प्रोसेस को पूरा किए बिना न तो कर्मचारी और न ही एंपलायर का योगदान PF अकाउंट्स में जमा किया जा सकता है।
04 गाड़ियां महंगी होगी
गाड़ियां महंगी हाल ही में लिए गए फैसले के अनुसार वाहन खरीदार द्वारा अपने डेमेज कवर को वहन किया जाएगा। इसके नतीजे में सितंबर से कार खरीदने पर डाउन पेमेंट 10-12 हजार रुपये तक बढ़ जाएगी।
दोपहिया वाहनों के मामले में यह राशि 1000 रुपये तक हो सकती है। परिणामस्वरूप एक नए वाहन पर बीमा की लागत में काफी वृद्धि होगी। यानी कुल मिला कर आपको गाड़ी (फिर चाहे वो दोपहिया हो या चार पहिया) खरीदने के लिए ज्यादा पैसा देना होगा।
5 Axis बैंक ने अपनाया नया चेक क्लियरेंस सिस्टम
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने बैंक धोखाधड़ी को रोकने के लिए इश्यूअर की डिटेल को वैरिफाई करने के लिए 2020 में चेक क्लिअरिंग के लिए एक नया पॉजिटिव पे सिस्टमा शुरू किया है। ये व्यवस्था 1 जनवरी, 2021 से लागू हुई थी। जहां कई बैंक इस सिस्टम को पहले ही अपना चुके हैं, वहीं एक्सिस बैंक इसे 1 सितंबर, 2021 से लागू करेगा।
क्या है पॉजिटिव पे सिस्टम
पॉजिटिव पे सिस्टम एक स्वचालित टूल है जो चेक के जरिये धोखाधड़ी करने पर लगाम लगाएगा। इसके तहत, जो व्यक्ति चेक जारी करेगा, उन्हें इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से चेक की तारीख, लाभार्थी का नाम, प्राप्तकर्ता और पेमेंट की रकम के बारे में दोबारा जानकारी देनी होगी।
चेक जारी करने वाला व्यक्ति यह जानकरी एसएमएस, मोबाइल ऐप, इंटरनेट बैंकिंग या एटीएम जैसे इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से दे सकता है। इसके बाद चेक पेमेंट से पहले इन जानकारियों को क्रॉस-चेक किया जाएगा। अगर इसमें कोई गड़बड़ी पाई जाएगी चेक से भुगतान नहीं किया जाएगा और संबंधित बैंक शखा को इसकी जानकरी दी जाएगी।
SBI आधार पैन लिंक
स्टेट बैंक ऑफ इंडिया ने अपने ग्राहकों से कहा है कि 30 सितंबर तक आधार कार्ड को अपने पैन कार्ड से लिंक कर लें। अगर आप एसबीआई के ग्रहाक हैं और यह प्रक्रिया पूरी नहीं करते हैं तो आपको कई तरह के वित्तीय लेनदेन में दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है।
LPG प्राइस
एलपीजी की कीमतों में कंपनियां एक सितंबर से बदलाव कर सकती हैं। जुलाई के महीने में एलपीजी सिलेंडर की कीमतों में 25.50 रुपयेे और अगस्त में 25 रुपये का इजाफा हुआ था। इस साल अबतक एलपीजी सिलेंडर की कीमतें 165 रुपये बढ़ाई जा चुकी हैं।
जीएसटी आर-1
माल और सेवा कर (जीएसटी) के लिए प्रौद्योगिकी सुविधाओं का प्रबंधन करने वाले जीएसटीएन ने करदाताओं के लिए जारी एक परामर्श में कहा है कि केंद्रीय जीएसटी नियमों के तहत नियम-59 (6), एक सितंबर 2021 से अमल में आ जायेगा। यह नियम जीएसटीआर -1 दाखिल करने में प्रतिबंध का प्रावधान करता है।
नियम के अनुसार, यदि किसी पंजीकृत कारोबारी ने पिछले दो महीने के दौरान फार्म जीएसटीआर-3बी में रिटर्न नहीं भरी है तो ऐसे पंजीकृत व्यक्ति को माल या सेवाओं या दोनों की दी गई आपूर्ति का विवरण फॉर्म जीएसटीआर-1 में दाखिल करने की मंजूरी नहीं मिलेगी।
ऐसे कारोबारी जो तिमाही रिटर्न दाखिल करते हैं यदि उन्होंने पिछली कर अवधि के दौरान फार्म जीएसटीआर-3बी में रिटर्न नहीं भरी है तो उनके लिये भी जीएसटीआर-1 दाखिल भरने पर रोक होगी।