छत्तीसगढ़

CGPSC घोटाले में CBI का बड़ा खुलासा, ये शख्स है CGPSC घोटाले का मास्टरमांइड, 2000 पन्नों का पूरक चालान किया पेश……

रायपुर। छत्तीसगढ़ लोक सेवा आयोग (PSC) 2021 में हुए घोटाले की जांच में सीबीआई ने बड़ा कदम उठाया है। एजेंसी ने विशेष अदालत में लगभग 2000 पन्नों का पहला पूरक चालान दाखिल किया है। इसमें पूर्व चेयरमैन टामन सिंह सोनवानी को पूरे घोटाले का मास्टरमाइंड बताया गया है।

इसके अलावा चालान में आरती वासनिक, जनक राम ध्रुव, निशा कोसले और दीपा आडील को आरोपी बनाया गया है। सभी आरोपियों की भूमिका का विस्तार से उल्लेख करते हुए CBI ने सबूतों और गवाहों के आधार पर अदालत को जानकारी दी है। फिलहाल सभी आरोपी CBI की न्यायिक रिमांड में जेल में बंद हैं।

CBI ने हाल ही में लोक सेवा आयोग की पूर्व परीक्षा नियंत्रक आरती वासनिक, पीएससी के पूर्व सचिव एवं पूर्व आईएएस जीवनलाल ध्रुव और उनके बेटे सुमित ध्रुव, साथ ही निशा कोसले और दीपा आदिल को गिरफ्तार किया है। इससे पहले सीबीआई ने 18 नवंबर को तत्कालीन अध्यक्ष टामन सिंह सोनवानी और बजरंग पावर एंड इस्पात के तत्कालीन निदेशक श्रवण कुमार गोयल को गिरफ्तार किया था। इसके बाद 10 जनवरी को पांच और आरोपियों को हिरासत में लिया गया, जिनमें नितेश सोनवानी (तत्कालीन अध्यक्ष का भतीजा, डिप्टी कलेक्टर के रूप में चयनित) और ललित गणवीर (तत्कालीन डिप्टी परीक्षा नियंत्रक, सीजीपीएससी) शामिल थे। इसके अतिरिक्त 12 जनवरी को शशांक गोयल और भूमिका कटियार (दोनों डिप्टी कलेक्टर पद के लिए चयनित) तथा साहिल सोनवानी (डिप्टी एसपी पद के लिए चयनित) को गिरफ्तार किया गया। वर्तमान में सभी आरोपी जेल में बंद हैं।

जानिए क्या है CGPSC घोटाला

यह मामला 2020 से 2022 के बीच हुई भर्ती प्रक्रियाओं से जुड़ा है। आरोप है कि आयोग की परीक्षाओं और इंटरव्यू में पारदर्शिता को दरकिनार कर राजनीतिक और प्रशासनिक रसूख वाले परिवारों के उम्मीदवारों को उच्च पदों पर चयनित किया गया। इस दौरान योग्य अभ्यर्थियों की अनदेखी कर डिप्टी कलेक्टर, डीएसपी और अन्य राजपत्रित पदों पर अपने नजदीकी लोगों को पद दिलवाने का खेल हुआ। प्रदेश सरकार ने मामले की गंभीरता को देखते हुए जांच सीबीआई को सौंपी। जांच एजेंसी ने छापेमारी में कई दस्तावेज और आपत्तिजनक साक्ष्य बरामद किए हैं। CGPSC परीक्षा 2021 में 171 पदों के लिए भर्ती परीक्षा आयोजित की गई थी। प्री-एग्जाम 13 फरवरी 2022 को कराया गया। इसमें 2 हजार 565 पास हुए थे। इसके बाद 26, 27, 28 और 29 मई 2022 को हुई मेंस परीक्षा में 509 अभ्यर्थी पास हुए। इंटरव्यू के बाद 11 मई 2023 को 170 अभ्यर्थियों की सिलेक्शन लिस्ट जारी हुई थी। इस घोटाले में अब तक कुल 12 लोगों की गिरफ्तारी हो चुकी है।

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