छत्तीसगढ़ गृह निर्माण मण्डल ने 435 करोड़ का राजस्व अर्जित कर रचा कीर्तिमान….

रायपुर: छत्तीसगढ़ के शहरी क्षेत्रों में मध्यम और निम्न आय वर्ग के लोगों को सुविधा युक्त आवास का सपना छत्तीसगढ़ गृह निर्माण मंडल पूरा कर रहा है। मंडल ने पिछले 6 माह में 2230 संपत्तियों का विक्रय कर 435 करोड़ रुपये का रिकार्ड राजस्व अर्जित किया है, जो पिछले पाँच वर्षों की तुलना में तुलना में अर्जित राजस्व से अधिक है। इस उपलब्धि में वन टाइम सेटलमेंट योजना-2 गेम चंेजर साबित हुई है।
आवास एवं पर्यावरण मंत्री श्री ओ.पी. चौधरी ने कहा कि हमारा उद्देश्य केवल संपत्तियाँ बेचना नहीं बल्कि हर परिवार को सुरक्षित और सम्मानजनक छत देना है। यह उपलब्धि हितग्राहियों के विश्वास और टीम के समर्पण का नतीजा है। अब हम गुणवत्ता आधारित आवास उपलब्ध कराने की दिशा में और तेजी से काम करेंगे। गृह निर्माण मंडल के अध्यक्ष श्री अनुराग सिंह देव ने कहा कि मंडल ने आने वाले समय में किफायती दरों पर हाउसिंग प्रोजेक्ट्स लॉन्च करने की योजना बनाई है। मंडल द्वारा डिजिटल रजिस्ट्रेशन, ई-आवास एवं भुगतान प्रक्रिया को और सरल एवं पारदर्शी बनाने पर काम किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि मात्र छह माह में 2200 से अधिक परिवारों का ‘अपने घर का सपना’ पूरा हुआ है। हमारा लक्ष्य छत्तीसगढ़ को आवास क्रांति में देश का अग्रणी राज्य बनाना है।
छत्तीसगढ़ गृह निर्माण मंडल से मिली जानकारी के अनुसार पिछले पाँच वर्षों में मण्डल ने औसतन 1387 संपत्तियाँ प्रतिवर्ष बेची थीं, जिनका वार्षिक मूल्य लगभग 262 करोड़ रुपये रहा। वहीं मार्च 2025 से अगस्त 2025 तक मात्र छह माह में ही यह आँकड़ा 2230 संपत्तियों और 435 करोड़ रुपये तक पहुँच गया। इसमें अटल विहार एवं सामान्य आवास योजना के तहत 1070 संपत्तियाँ 259 करोड़ रुपये में तथा ओटीएस-2 योजना के तहत 30 प्रतिशत तक की छूट के साथ 1160 संपत्तियाँ 176 करोड़ रुपये में विक्रय की गईं।
छत्तीसगढ़ सरकार की इस वर्ष लागू वन टाइम सेटलमेंट योजना-2 ने आम नागरिकों को बड़ी राहत दी। इस योजना के तहत 1160 संपत्तियों का 176 करोड़ रुपये मूल्य का विक्रय हुआ। इसके पहले सितंबर 2021 से मार्च 2024 तक लागू ओटीएस-1 योजना के अंतर्गत तीन वर्षों में केवल 506 संपत्तियाँ 88 करोड़ रुपये में विक्रय हो पाई थीं।