उत्तर प्रदेश

एक अच्छा समाज बनाओ। लोगों को शाकाहारी, नशामुक्त बनाओ कि जिससे वे आगे अच्छे युग को देख सकें – बाबा उमाकान्त महाराज

एक अच्छा समाज बनाओ। लोगों को शाकाहारी, नशामुक्त बनाओ कि जिससे वे आगे अच्छे युग को देख सकें – बाबा उमाकान्त महाराज

जिस तरह से सतयुग में एक हजार वर्ष के लिए कलयुग आया था उसी तरह कलयुग के बीच में भी सतयुग आएगा

उत्तर प्रदेश। अंबेडकर नगर, उत्तर प्रदेश परम सन्त बाबा उमाकान्त महाराज ने कहा कि अच्छा समाज बनाओ, लोगों को अच्छा बनाओ, शाकाहारी, नशामुक्त बनाओ कि जिससे वे अच्छे युग को देख लें। सबसे अच्छा युग कौनसा था? सतयुग था। सतयुग में लोग खेत को एक बार जोत कर के, बो कर के चले आते थे और 27 बार काटते और फिर बुआई, जुताई के लिए जाना ही नहीं पड़ता था। सतयुग में खेत को बादल अपने आप पानी दे जाया करते थे लेकिन यह दुनिया परिवर्तनशील है। सबसे पहले जब सृष्टि की रचना हुई तब सतयुग था, फिर त्रेता आया, द्वापर आया और फिर कलयुग आया। यह बहुत बार बीत गया, बहुत बार युग बीते। बदलाव तो होता रहता है।

कलयुग में ही सतयुग के आने की बात भी लिखने-पढ़ने में मिलती है

कहते हैं कि यह कलयुग का प्रथम चरण है “कलियुगे कलि प्रथम चरणे जम्बूद्वीपे भारतवर्षे भरतखण्डे आर्यावर्ते”। ये है तो कलयुग का प्रथम चरण ही; लेकिन कलयुग में ही सतयुग के आने की बात भी लिखा-पढ़ी में मिलती है। जो सूरदास हुए हैं वे भी लिख कर गए हैं – “सहस्र बरस लग सतयुग व्यापै, सुख की दशा फिरे। काल जाल से वही बचे, जो गुरु ध्यान धरे”। उड़िया में जगन्नाथ दास महात्मा हुए हैं उन्होंने लिखा है “एनी धैनी पुष्य नक्षत्रे कर्कट राशि” पुष्य नक्षत्र होगा और कर्कट राशि होगी, उस वक्त पर सतयुग का नजारा इस धरती पर दिखाई पड़ जायेगा। जैसे सतयुग में एक हजार वर्ष तक राज करने के लिए कलयुग गया था, वैसे ही कलयुग के बीच में भी सतयुग आएगा।

लोगों को सतयुग देखने के लायक बनाओ

अब सतयुग देखने के लायक लोगो को नहीं बनाओगे तो ये इतिहास बता रहा है कि जब युग बदलता है तो बहुत मरते हैं। जब त्रेता गया था तब देखो कितने मरे; कहा गया “एक लाख पूत और सवा लाख नाती, ता रावण घर दीया न बाती।” एक भी नहीं बचे, सब खत्म हो गए। द्वापर गया तब भी बहुत मरे; 11 अक्षौहिणी सेना 18 दिन के अंदर ही खत्म हो गई। तो लोग सतयुग को देखें; इसके लिए उन्हें सतयुग के लायक बनाओ। अब सतयुग के लायक कैसे बनेंगे? जब इनका खान-पान, चरित्र सही हो जाएगा, इनकी बुद्धि सही हो जाएगी और फिर ये सतयुग में रहने लायक, काम करने लायक, जीने लायक बन पाएंगे। इसीलिए लोगों से प्रार्थना करो कि

“हाथ जोड़कर विनय हमारी, तजो नशा बनो शाकाहारी।
छोड़ो व्यभिचार बनो ब्रह्मचारी, सतयुग लाने की करो तैयारी।।”

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