चीन में नए वायरस HMPV की दस्तक हॉस्पिटल में लम्बी लम्बी लाइन लॉक डाउन जैसे हालत कितना ख़तरनाक हैं और किसको कर रहा संक्रमित जानें सब कुछ पढ़े पूरी ख़बर
साल 2025 की शुरूआत में ही दुनिया के लिए सबसे बड़ा खतरा बन चुके चीन ने एक बार फिर से वायरस बम (एचएमपीवी वायरस) फोड़ दिया है और चीन के अस्पतालों के बाहर लंबी लंबी कतारें लग रही हैं.कहा जा रहा है,कि चीन में नया वायरस आया है और कोविड महामारी की तरह ही,चीन फिर से इस वायरस को लेकर जानकारियां छिपा रहा है रिपोर्ट के मुताबिक, चीन में इस वक्त ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस (HMPV) का प्रसार हुआ है। यह वायरस,चीन के उत्तरी प्रांतों में 14 वर्ष से कम उम्र के बच्चों को बुरी तरह से प्रभावित कर रहा है,जिसने वैश्विक स्तर पर चिंताएं पैदा कर दी हैं। हालांकि,भारत में फिलहाल इस वायरस को लेकर एक भी मामले रिपोर्ट नहीं किए गये हैं, लेकिन भारत को लगातार इस वायरस को लेकर नजर बनाए रखनी होगी। खासकर वायरस के प्रसार को रोकने के लिए तत्काल कम से कम 5 कदम उठाने की जरूरत है। लेकिन,उससे पहले जान लेते हैं,कि चीन में मौजूदा हालात क्या हैं चीन ने HMPV वायरस के मामलों में उछाल की सूचना दी है,जिसमें बच्चे सबसे ज्यादा प्रभावित समूह हैं। ये वायरस,कोरोना वायरस की तरह ही सांस लेने,नजदीकी संपर्क में आने से फैलता है। चीनी रोग नियंत्रण और रोकथाम केंद्र (चीन सी डी सी) के मुताबिक, एचएमपीवी न्यूमोविरिडे परिवार से संबंधित है और इसकी ऊष्मायन अवधि तीन से पांच दिनों की होती है.यह वायरस कमजोर प्रतिरक्षा सुरक्षा के लिए जाना जाता है,जिससे बार-बार संक्रमण होता है।
चीन ने कहा है,कि वो इस वायरस की निगरानी कर रहा है और पिछले हफ्ते चीनी रोग नियंत्रण प्राधिकरण ने सर्दियों के महीनों के दौरान एचएमपीवी और राइनोवायरससहित श्वसन संक्रमणों में वृद्धि की प्रवृत्ति का संकेत दिया था। चीन जानकारियों को छिपा रहा है और किसी वायरस के फैलने की बात से इनकार कर रहा है,लेकिन इतिहास हमें यही सिखाता है,कि किसी भी हाल में चीन में विश्वास नहीं करना चाहिए।
क्या चीन के नये वायरस से भारत खतरे में आएगा
इकोनॉमिक टाइम्स की रिपोर्ट में गुरुग्राम के सीके बिड़ला अस्पताल में क्रिटिकल केयर और पल्मोनोलॉजी के प्रमुख डॉ. कुलदीप कुमार ग्रोवर ने टाइम्स नाउ को बताया, कि “भारत में लोगों की संख्या ज्यादा होने के कारण, सांस संबंधी वायरस का प्रसार चिंता का विषय है। हाथ धोने, भीड़-भाड़ वाले इलाकों में मास्क का ज्यादा इस्तेमाल करने और किसी के नजदीकी संपर्क में आने से बचने जैसी कुछ एहतियात बरतकर उस जोखिम को कम किया जा सकता है।”हालांकि उन्होंने लोगों को यह भी आश्वासन दिया, कि भारत में कोई भी मामला सामने नहीं आया है और घबराहट से बचने की सलाह दी है।