विद्यार्थियों ने कारोबार करना सीखा
तोकापाल / जगदलपुर : बाल दिवस पर आनंद मेला या फन फेयर जो भी कहें बस्तर अपने मेला के लिए विशेष तौर पर जाना जाता है। मंडई या इसे हरिक उदुम मंडई भी कह सकते हैं। शब्द चाहे जो भी हो भाव और इसका अर्थ आनंद से है। बाल दिवस अर्थात बच्चों का दिन, बच्चे खेलकूद में भरपूर आनंद लें एवं खेल के साथ-साथ बहुत सारी सीख मिल सकती है। इसी बात को ध्यान में रखकर आत्मानंद उत्कृष्ट अंग्रेजी माध्यम विद्यालय तोकापाल के शिक्षक शिक्षिकाओं एवं विद्यालय के चुने गए विद्यार्थियों के बीच प्राचार्य विधु शेखर झा एवं उप प्राचार्य इरम रहीम ने बैठक लेकर सभी के विचार जानने के पश्चात निर्णय लिया कि बाल दिवस को हर्ष उल्लास के साथ मनाया जाए ।बच्चे आनंद के साथ साथ खेल-खेल में कारोबार करना, मार्केटिंग ,व्यवसाय को कैसे लाभ पूर्ण बनाया जा सकता है इसे सीखें। इस उद्देश्य से विद्यार्थियों के उनकी इच्छा, क्षमता एवं रुचि के अनुसार अलग-अलग व्यंजन बनाने एवं आकर्षक स्टॉल लगाया गया, कुल 16 स्टाल लगाया गया। जिसमें विभिन्न प्रकार के व्यंजन विद्यार्थियों एवं उनके अभिभावकों के सहयोग से लगाया गया।
प्रातः 8:30 बजे से ही सभी विद्यार्थियों में उत्साह देखा गया विद्यार्थी अलग-अलग स्टाल में जाते अपने रुचि के अनुसार क्रय कर खाने पीने की चीजों का आनंद लेने लगे। अभिभावकों के साथ शिक्षक शिक्षिकाओं ने भी इन सभी स्टाल का आनंद लिया।
इसके पूर्व ही विद्यार्थियों को बताया गया था कैसे थोड़ा बहुत निवेश करके आप इसे कारोबार का रूप दे सकते हैं ? कैसे आप लाभ कमा सकते हैं ? इसे प्रायोगिक तरीके से सीखने का यह अवसर है। विद्यार्थियों के लाभांश की एक निश्चित राशि को जीएसटी की तर्ज पर संस्था में जमा करने भी कहा गया है जिसका उपयोग लिए गए निर्णय के अनुसार संस्था में ही विद्यार्थियों के हित में होगा।
इस फन फेयर को सभी लोगों ने बहुत ही आनंददायक बताया। इसे आयोजित करने में संस्था के प्राचार्य विधु शेखर झा, उप प्राचार्य इरम रहीम एवं शिक्षक शिक्षिकाएं एवं स्टाफ स्वाति लवंग ,राजीव सिंह ठाकुर, सरिता यादव ,सोनाक्षी मजूमदार, श्रीदेवी सिंह ,नीलम भास्कर, रुपिंदर कौर ,अर्पणा सिंह, लता जोशी ,प्रीति साइमन ,अपर्णा मिगलानी ,काजल यादव ,पंकज मूर्ति ,नीता शुक्ला, ज्योत्सना कश्यप ,इंद्र राज सोनवानी, तनय घोष ,मानसी बघेल ,मोहनीश पांडे,महेश सोनी ,लेसिना देवांगन, जयदेव बघेल एवं कुंती बघेल ने अपना योगदान दिया।